नई दिल्ली. बिहार चुनाव से ठीक पहले बीजेपी और जेडीयू के बीच मुख्यमंत्री पद को लेकर नई राजनीतिक सरगर्मी तेज हो गई है। दरअसल, गृह मंत्री और वरिष्ठ बीजेपी नेता अमित शाह ने हाल ही में एक इंटरव्यू में कहा कि NDA की जीत के बाद मुख्यमंत्री का फैसला चुनाव के नतीजों के बाद विधायक दल की बैठक में होगा।
हालांकि उन्होंने यह भी जोड़ा कि NDA इस बार भी नीतीश कुमार के नेतृत्व में चुनाव लड़ रहा है।
जेडीयू ने दी तुरंत प्रतिक्रिया
अमित शाह के इस बयान के बाद जेडीयू ने तुरंत मोर्चा संभाल लिया। पार्टी के मुख्य प्रवक्ता नीरज कुमार ने ‘X’ (पूर्व ट्विटर) पर लिखा:
“सूर्य तारे, चंद्र तारे, तारे सकल संसार, विकास की राह से न तरे नीतीश कुमार। जनता का भरोसा नीतीश कुमार पर अडिग – सुशासन के प्रतीक, न्याय के साथ विकास के वाहक NDA के सर्वसम्मत नेता।”
उन्होंने आगे कहा, “नीतीश कुमार अभी भी बिहार में NDA का सबसे मजबूत और सर्वमान्य चेहरा हैं। वे गठबंधन के प्रचार अभियान का नेतृत्व कर रहे हैं और सभी सहयोगी दल उनके नेतृत्व को स्वीकार करते हैं।”
पासवान ने कहा – ‘प्रक्रिया सामान्य है’
NDA के तीसरे प्रमुख घटक और केंद्रीय मंत्री चिराग पासवान ने शाह के बयान को स्वाभाविक बताया। उन्होंने कहा, “यह सामान्य प्रक्रिया है कि चुनाव के बाद गठबंधन के सभी विधायक एक साथ बैठकर मुख्यमंत्री का चयन करते हैं।”
हालांकि, पासवान का यह बयान जेडीयू को कुछ असहज कर गया है, क्योंकि 2020 के विधानसभा चुनाव में LJP (राम विलास) ने कई सीटों पर जेडीयू उम्मीदवारों के खिलाफ उम्मीदवार उतारे थे। जेडीयू का मानना है कि उसी वजह से 2020 में उसकी सीटें 71 से घटकर 43 रह गईं, जबकि बीजेपी की बढ़कर 74 हो गई थीं।
सीट बंटवारे पर भी नाराज़गी
इस बार NDA में बीजेपी और जेडीयू दोनों 101-101 सीटों पर चुनाव लड़ रही हैं, जबकि LJP (राम विलास) को 29 सीटें मिली हैं। सूत्रों के अनुसार, नीतीश कुमार ने कुछ सीटों को लेकर असंतोष जताया था, खासकर वे सीटें जो पहले जेडीयू के पास थीं लेकिन अब पासवान की पार्टी को दे दी गईं। फिर भी उन्होंने यह सुनिश्चित किया कि राजगीर (SC) और सोनबरसा (SC) सीटें जेडीयू के खाते में ही रहें।
शाह का बयान और राजनीतिक संकेत
अमित शाह ने जब यह कहा कि “मैं कौन होता हूं मुख्यमंत्री बनाने वाला? NDA विधायक दल ही तय करेगा कि मुख्यमंत्री कौन बनेगा,” तो यह स्पष्ट था कि बीजेपी ने अभी नीतीश के भविष्य को खुला रखा है।
हालांकि, बिहार में NDA का पूरा प्रचार अभियान नीतीश कुमार के चेहरें और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की लोकप्रियता पर केंद्रित है।
विपक्ष पर तंज
चिराग पासवान ने शाह से मुलाकात के बाद कहा, “महागठबंधन में तो यह तक साफ नहीं कि चेहरा कौन है – तेजस्वी यादव या कोई और। NDA प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में ऐतिहासिक जीत की ओर बढ़ रहा है।”
