नई दिल्ली. हिमाचल प्रदेश में heavy rainfall और भूस्खलनों (landslides) के कारण बड़े पैमाने पर तबाही मची है। अधिकारियों के अनुसार, राज्य में 398 सड़कें वाहनों के आवागमन के लिए अवरुद्ध हैं। लगातार बारिश के चलते कई पेड़ उखड़ गए और प्रमुख national highways सहित स्थानीय सड़कों पर यातायात प्रभावित हुआ।राजधानी Shimla में भी भारी बारिश के कारण कई पेड़ गिर गए, जिससे 3-4 वाहन क्षतिग्रस्त हुए। टूटीकंडी और विकास नगर में भी पेड़ गिरने की घटनाओं से भवनों और सड़क अवसंरचना को नुकसान पहुंचा।
प्रभावित प्रमुख राष्ट्रीय राजमार्ग (NH)
भूस्खलन और बारिश से प्रभावित प्रमुख सड़कें हैं:
NH-305 (Aut-Sainj Road)
NH-505 (Khab to Gramphu)
NH-707 (Hatkoti to Paonta Sahib)
Mandi जिले में सबसे अधिक 213 सड़कें बंद हैं, जबकि Kullu में 85 सड़कें अवरुद्ध हैं। दुनेरा के पास Chamba-Pathankot highway भी क्षतिग्रस्त हो गया, जिससे आवागमन असंभव हो गया।
Orange Alert जारी
मौसम विभाग ने Bilaspur, Kangra, Mandi, Shimla और Sirmaur जिलों में आगामी बुधवार और गुरुवार के लिए orange alert जारी किया है। राज्य के कई हिस्सों में हल्की से मध्यम बारिश जारी रही।
Monssoon Rainfall Data
पिछले 24 घंटों में भारी बारिश के आंकड़े:
Nagrota Surian: 180.2 मिमी
Guler: 161.2 मिमी
Ghamarur: 112.2 मिमी
Nadaun: 78.5 मिमी
अन्य क्षेत्रों जैसे Jogindernagar, Kangra, Palampur, Sujanpur Tira और Shimla में भी 40-75 मिमी बारिश दर्ज हुई।
इस मानसून सीजन (1 जून से 10 अगस्त) तक कुल 507.3 मिमी बारिश हुई है, जो सामान्य 445.5 मिमी से 11% अधिक है।
मानसून से हुई मौतें और नुकसान
SEOC के अनुसार, 20 जून से अब तक:
119 लोग मारे गए
36 लोग लापता हैं
58 अचानक बाढ़ की घटनाएँ, 30 बादल फटने की घटनाएँ
54 बड़े भूस्खलन हुए
बुनियादी ढांचे को भी भारी नुकसान पहुँचा:
669 बिजली ट्रांसफार्मर
529 जलापूर्ति योजनाएँ
राज्य को मानसून से अनुमानित ₹2,007 करोड़ से अधिक का नुकसान हुआ है, जिससे आपदा तैयारी और प्रतिक्रिया पर चिंता बढ़ गई है।
आगे की स्थिति और सावधानी
आगामी दिनों में बारिश जारी रहने की संभावना है। राज्य प्रशासन लगातार disaster management और emergency response पर नजर बनाए हुए है। नागरिकों को सुरक्षित स्थानों पर रहने और प्रभावित क्षेत्रों से दूर रहने की सलाह दी गई है।