नई दिल्ली. पुलिस ने अनशन के 12वें दिन मेधा पाटकर और उनके समर्थकों को जबरन अस्पताल में भर्ती करा दिया है. सोमवार की शाम को भारी संख्या में पहुंची पुलिस बल ने आंदोलनकारियों पर लाठियां भांजीं और जबरन अनशनकरियों को गिरफ्तार कर अस्पताल ले गयी.
मालूम हो कि सरदार सरोवर बांध की ऊंचाई 138 मीटर तक बढ़ाने से नर्मदा घाटी के 192 गांवों के डूबने का खतरा बढ़ गया है. पानी बढ़ने से 40 हजार परिवारों को मजबूरन अपना घर-बार छोड़ना पड़ सकता है. मेधा पाटकर की मांग है कि जबतक सभी विस्थापितों का पुर्नवास न हो जाए तब तक उन्हे हटाया नहीं जाए. वे मध्यप्रदेश के धार जिले के चिल्खदा गांव में 27 जुलाई से अनिश्चितकालीन अनशन कर रही हैं.
पुलिस के द्वारा मेधा पाटकर को जबरन हटाये जाने के बाद से चिल्खदा गांव में तनाव बढ़ गया है. इस दौरान पुलिस और नर्मदा बचाओ आंदोलन के कार्यकर्ताओं के बीच हिंसक झड़प भी हुई. आंदोलनकारियोंं ने आरोप लगाया है कि पुलिस ने लाठीचार्ज किया. बीबीसी में छपी रिपोर्ट में एक आंदोलनकारी के हवाले से कहा गया है कि पुलिस ने इस दौरान कील लगे डंडो से आंदोलनकारियों को पीटा.
जबरन अनशनस्थल से हटाये जाने के बाद मेधा पाटकर ने ट्वीट करके कहा है कि यह एक अहिंसक आंदोलन का जवाब नहीं होता है. उन्होने लिखा ”मध्य प्रदेश सरकार हमारे 12 दिनों से बैठे 12 साथियों को गिरफ्तार करके जवाब दिया है. अहिंसक आंदोलन का जवाब यह नहींं होता है. मोदी जी के राज में, शिवराज जी चौहान के राज में संवाद नहीं है. आंकड़ों का खेल, कानून का उल्लंघन और केवल बल प्रयोग.”
वहीं, शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि उन्हें पुलिस के द्वारा गिरफ्तार नहीं किया गया है जबकि उन्हें ईलाज के लिए अनशन स्थल से हटाया गया है.
मैं संवेदनशील व्यक्ति हूँ। चिकित्सकों की सलाह पर @medhanarmada जी व उनके साथियों को अस्पताल में भर्ती कराया गया, गिरफ्तार नहीं किया गया है।
— ShivrajSingh Chouhan (@ChouhanShivraj) August 7, 2017
शिवराज सिंह चौहान ने ट्वीट किया “विस्थापितों के पुनर्वास के संबंध में मेधा पाटकर जी को पूरी जानकारी देकर राज्य सरकार ने उन्हें संतुष्ट करने की पूरी कोशिश की है.”
मालूम हो कि सुप्रीम कोर्ट ने 31 जुलाई तक सभी विस्थापितों के पुर्नवास करने के बाद बांध की उंचाई बढ़ाने का आदेश दिया था.
एक ट्वीट में शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि सरकार आदेश का पालन करने के लिए प्रतिबद्ध है.
We reiterate that we have completed R&R work as per directions of Supreme Court and are committed to continuing the work wherever needed.
— ShivrajSingh Chouhan (@ChouhanShivraj) August 7, 2017
नर्मदा बचाओ आंदोलन के ट्वीट से जानकारी मिली है कि पाटकर अस्पताल से अपना अनशन जारी रखेंगी. आज इस मामले को लेकर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई भी होने वाली है
.@medhanarmada continues her fast in hospital. Treatment continues. Stable. All 9 others also continue their fast at Dhar. 4/ Update
— NarmadaBachaoAndolan (@NarmadaBachao) August 8, 2017