नई दिल्ली: संसद की सुरक्षा में चूक के मसले पर विपक्षी पार्टियों ने लोकसभा और राज्यसभा में जमकर हंगामा किया और गृह मंत्री अमित शाह से बयान देने की मांग की. इस बीच लोकसभा स्पीकर ने हंगामा करने के आरोप में कांग्रेस सदस्यों टी एन प्रतापन, हिबी इडेन, जोतिमणि, रम्या हरिदास और डीन कुरियाकोस को शीतकालीन सत्र के बाकी बचे समय से निलंबित कर दिया है.
इसके बाद भी हंगामा नहीं थमा और 9 और सदस्यों को शीतकालीन सत्र से निलंबित कर दिया गया. इनमें बेनी बेहनन, मोहम्मद जावेद, पी आर नटराजन, कनिमोझी, वीके श्रीकंदन, के सुब्रमण्यम, एसआर पार्थिबन, एस वेंकटेशन और मनिकम टैगोर शामिल हैं.
हमें दलगत राजनीति से ऊपर उठकर काम करना होगा : प्रह्लाज जोशी
संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी ने लोकसभा में कहा कि हम सब सहमत हैं कि कल की दुर्भाग्यपूर्ण घटना लोकसभा सदस्यों की सुरक्षा में गंभीर चूक थी और इस मामले में लोकसभा अध्यक्ष के निर्देश पर उच्चस्तरीय जांच शुरू कर दी गई है.
उन्होंने कहा, ”इस मुद्दे पर किसी भी सदस्य से राजनीति की अपेक्षा नहीं की जाती, हमें दलगत राजनीति से ऊपर उठकर काम करना होगा. संसद में सुरक्षा में चूक की इस तरह की घटनाएं पहले भी होती रही हैं और उस समय के लोकसभा अध्यक्षों के निर्देशानुसार कार्यवाही चलाई जाती रही है.”
डेरेक ओब्रायन निलंबित
इससे पहले राज्यसभा से तृणमूल कांग्रेस के सांसद डेरेक ओब्रायन को निलंबित कर दिया गया. उनके निलंबन को लेकर विपक्षी दलों के सांसदों ने राज्यसभा में जमकर हंगामा किया. इसके बाद राज्यसभा की कार्यवाही तीन बजे तक के लिए स्थगित कर दी गई. इसके बाद फिर 4 बजे तक के लिए सदन की कार्यवाही स्थगित कर दी गई.
विपक्ष की मांग
आज सुबह संसद का शीतकालीन सत्र शुरू होने से पहले आगे की रणनीति को लेकर विपक्षी दलों की बैठक हुई. इस बैठक के बाद कांग्रेस महासचिव जयराम रमेश ने एक्स पर लिखा, ”INDIA की पार्टियां मांग कर रही हैं: कल संसद में हुई बेहद गंभीर और खतरनाक सुरक्षा चूक पर दोनों सदनों में गृह मंत्री विस्तृत बयान दें और उसके बाद इसपर चर्चा हो.”
उन्होंने आगे कहा, ”घुसपैठ करने वालों को विजिटर पास दिलवाने वाले BJP सांसद प्रताप सिम्हा के खिलाफ सख्त कार्रवाई हो. मोदी सरकार द्वारा इन पूरी तरह से वैध और उचित मांगों को मानने से इंकार करने के कारण आज सुबह लोकसभा और राज्यसभा की कार्यवाही स्थगित हो गई.”