नई दिल्ली. बिहार विधानसभा चुनाव से पहले नालंदा में हुई एक विशाल जनसभा में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने विपक्ष पर तीखा हमला बोला। उन्होंने कहा कि यह चुनाव किसी को विधायक या मंत्री बनाने का नहीं, बल्कि ‘जंगलराज’ की वापसी रोकने का चुनाव है।
शाह ने कहा, “यह चुनाव किसी को MLA या मंत्री बनाने के लिए नहीं है, बल्कि उस ‘जंगलराज’ को रोकने के लिए है जो अपना रूप बदलकर फिर से लौटना चाहता है।”
‘लालू-राबड़ी राज’ पर निशाना, नीतीश को बताया ‘सुशासन बाबू’
अमित शाह ने कहा कि नालंदा ने ‘जंगलराज’ का भयावह दौर देखा है। उन्होंने दावा किया कि लालू-राबड़ी शासनकाल में बिहार में 38 नरसंहार हुए, जबकि नीतीश कुमार के 20 साल के शासन में एक भी ऐसी घटना नहीं हुई।
शाह बोले, “नालंदा में कभी अपहरण, फिरौती, हत्या और अपराध का बोलबाला था। लेकिन नीतीश बाबू ने ‘सुशासन’ से लालू जी के आतंक को खत्म किया।”
‘मोदी जी ने लौटाई नालंदा की गौरवगाथा’
अमित शाह ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा नालंदा विश्वविद्यालय के पुनर्निर्माण को बिहार के लिए गौरव का विषय बताया। उन्होंने कहा कि कभी नालंदा विश्वविद्यालय की ख्याति पूरे विश्व में थी, लेकिन बख्तियार खिलजी ने इसे नष्ट कर दिया था। प्रधानमंत्री मोदी ने इस विश्वविद्यालय का पुनर्निर्माण कर नालंदा की अस्मिता को फिर जीवित किया है।
शाह ने गर्व से कहा कि अब अगर 100 बख्तियार खिलजी भी आएंगे, तो भी हमारी नालंदा विद्यापीठ को कोई नहीं तोड़ पाएगा।”
यह सुनकर सभा में ज़ोरदार तालियां गूंज उठीं।
‘हर घुसपैठिए को बिहार से बाहर निकालेंगे’
शाह ने कांग्रेस नेता राहुल गांधी पर भी सीधा हमला बोला। उन्होंने कहा कि राहुल बाबा कुछ महीने पहले यहां ‘घुसपैठिया बचाओ यात्रा’ निकाल रहे थे। अगर बिहार में NDA की सरकार बनी, तो हम एक-एक घुसपैठिए को बाहर निकालेंगे। ये लोग राष्ट्रविरोधी गतिविधियों में शामिल हैं। उन्होंने कहा कि चाहे जितनी यात्राएं निकाल लो, प्रधानमंत्री मोदी हर घुसपैठिए को वहीं भेजेंगे, जहां से वह आया है।
दो साल में तैयार होगा सीता माता मंदिर
अमित शाह ने बिहार की धार्मिक पहचान को भी मोदी सरकार की उपलब्धियों से जोड़ा। उन्होंने कहा कि 22 जनवरी 2024 को पीएम मोदी ने अयोध्या में राम मंदिर का प्राण प्रतिष्ठा किया। उसी दिन से हिलसा के सूर्य मंदिर में दीप जल रहा है। शाह ने बताया कि सीता माता मंदिर के निर्माण का भूमि पूजन 5 महीने पहले 850 करोड़ रुपये की लागत से किया गया है।
उन्होंने कहा कि सीता माता का जन्म स्थल बिहार में है। क्या यहां उनका मंदिर नहीं बनना चाहिए? अगले दो साल में यह मंदिर तैयार हो जाएगा और प्रधानमंत्री मोदी खुद इसका ‘प्राण प्रतिष्ठा’ करेंगे अमित शाह का यह भाषण स्पष्ट संकेत देता है कि बिहार चुनाव में भाजपा ‘जंगलराज बनाम सुशासन’ और ‘विकास बनाम परिवारवाद’ जैसे मुद्दों पर चुनावी नैरेटिव बनाने की कोशिश में है। नालंदा से उन्होंने मोदी-नीतीश की साझेदारी को ‘विकास और सुरक्षा की गारंटी’ बताया।
