नई दिल्ली. भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) के चेयरमैन और अंतरिक्ष विभाग के सचिव डॉ. वी. नारायणन ने भारतीय रेलवे की सराहना करते हुए कहा कि तकनीकी प्रगति की रफ्तार देखकर यह दिन दूर नहीं जब भारतीय रेल नेटवर्क की सभी ट्रेनों की रियल-टाइम मॉनिटरिंग संभव हो पाएगी।
वे सिकंदराबाद स्थित Indian Railways Institute of Signal Engineering and Telecommunications (IRISET) के 68वें वार्षिक दिवस समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में बोल रहे थे।
रेलवे का देश की प्रगति में अहम योगदान: ISRO चीफ
डॉ. नारायणन ने कहा कि भारतीय रेलवे न केवल देश की आर्थिक और सामाजिक प्रगति का आधार है, बल्कि IRISET जैसे संस्थानों का हिस्सा बनना कई इंजीनियरों का सपना होता है।
उन्होंने बताया कि सुरक्षित ट्रेन संचालन के लिए संचार प्रणाली (Communication System) बेहद महत्वपूर्ण है। ISRO के सैटेलाइट्स भारतीय रेलवे की संचार तकनीक को मजबूत कर रहे हैं। आने वाले वर्षों में ISRO और Indian Railways नई तकनीकों पर मिलकर काम करेंगे। डॉ. नारायणन ने यह भी कहा कि भारत के पास चंद्रमा पर सबसे उन्नत कैमरा है और भारत पहला देश है जिसने चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर सॉफ्ट लैंडिंग की।
रेलवे बोर्ड चेयरमैन सतिश कुमार का संदेश: सुरक्षा सर्वोपरि
कार्यक्रम में रेलवे बोर्ड के चेयरमैन और CEO सतीश कुमार का रिकॉर्डेड संदेश भी प्रसारित किया गया। उन्होंने कहा कि रेलवे के लिए सुरक्षा (Safety) हमेशा सबसे महत्वपूर्ण प्राथमिकता रहती है। अधिकारियों और सुपरवाइजर्स में सुरक्षित कार्य संस्कृति विकसित करना बेहद जरूरी है। IRISET न केवल रेलवे कर्मचारियों, बल्कि प्राइवेट सेक्टर के इंजीनियरों को भी उन्नत प्रशिक्षण प्रदान करता है।
SCR GM संजय कुमार श्रीवास्तव ने दिए सुझाव
दक्षिण मध्य रेलवे (SCR) के जनरल मैनेजर संजय कुमार श्रीवास्तव ने IRISET को सुझाव देते हुए कहा—
तकनीकी कर्मचारियों की multi-skilling आवश्यक है ताकि वे बदलती तकनीक के अनुरूप काम कर सकें।
signalling और telecom से जुड़े संसाधनों की reliability बढ़ाने पर विशेष ध्यान देने की जरूरत है।
IRISET को अत्याधुनिक प्रशिक्षण मॉड्यूल शुरू करने चाहिए, जिससे रेलवे की सुरक्षा और दक्षता और बेहतर हो सके।
IRISET: रेलवे की तकनीकी रीढ़
1957 में स्थापित IRISET, संचार, सिग्नलिंग, स्वचालन और रेलवे सुरक्षा तकनीक में प्रशिक्षण देने वाला दुनिया के प्रमुख रेल प्रशिक्षण संस्थानों में से एक है।
यहाँ हर साल हजारों रेलवे अधिकारी और कर्मचारी,मेट्रो रेल निगमों प्राइवेट टेलीकॉम/सिग्नलिंग तकनीशियन प्रशिक्षण प्राप्त करते हैं।
रियल-टाइम ट्रेन मॉनिटरिंग कैसे बदलेगी रेलवे?
ISRO और Railways की संयुक्त पहल से हर ट्रेन की लाइव लोकेशन मिलेगी, ट्रेन संचालन और ट्रैफिक नियंत्रण और अधिक सुरक्षित होगा, दुर्घटनाओं को रोकने में तेजी आएगी, ट्रेनों का समय पर संचालन सुनिश्चित होगा
यात्रियों को बेहतर सूचना सेवाएं मिलेंगी
यह तकनीक भारतीय रेलवे को पूरी तरह डिजिटल और स्मार्ट रेल नेटवर्क की ओर आगे ले जाएगी।
