नई दिल्ली. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को विश्व मानसिक स्वास्थ्य दिवस के अवसर पर कहा कि मानसिक स्वास्थ्य हमारे समग्र कल्याण का एक मूलभूत हिस्सा है। विश्व मानसिक स्वास्थ्य दिवस हर साल 10 अक्टूबर को मनाया जाता है, ताकि मानसिक स्वास्थ्य से जुड़ी समस्याओं के प्रति जागरूकता बढ़ाई जा सके।
पीएम मोदी ने X (पूर्व ट्विटर) पर लिखा:
“विश्व मानसिक स्वास्थ्य दिवस हमें याद दिलाता है कि मानसिक स्वास्थ्य हमारे समग्र कल्याण का एक अनिवार्य हिस्सा है। तेज़ रफ्तार दुनिया में यह दिन विचारशील होने और दूसरों के प्रति सहानुभूति दिखाने का महत्व बताता है।”
प्रधानमंत्री ने यह भी जोर दिया कि चिंता (Anxiety), अवसाद (Depression) और अन्य मानसिक स्वास्थ्य समस्याओं से जूझ रहे लोगों के प्रति सहानुभूति दिखाना बहुत जरूरी है।
उन्होंने कहा:
“आइए हम मिलकर ऐसे वातावरण बनाएं जहाँ मानसिक स्वास्थ्य पर खुलकर बातचीत करना सामान्य हो। इस क्षेत्र में काम कर रहे सभी लोगों को मेरा अभिनंदन, जो दूसरों को ठीक होने और खुशी पाने में मदद कर रहे हैं।”
भारत में मानसिक स्वास्थ्य की स्थिति
राष्ट्रीय मानसिक स्वास्थ्य सर्वे (2016) के अनुसार, लगभग 13.2% भारतीयों के जीवनकाल में किसी न किसी मानसिक स्वास्थ्य समस्या का सामना करना पड़ता है, जबकि 10.6% वर्तमान में प्रभावित हैं।
इसका मतलब है कि हर दस में से लगभग एक भारतीय अवसाद, चिंता या मादक पदार्थ उपयोग संबंधी विकार जैसी समस्याओं से जूझ रहा है। महिलाओं में अवसाद सबसे आम है।
सरकारी प्रयास
टेली-MANAS (Tele-MANAS)
यह कई भाषाओं में तुरंत मानसिक स्वास्थ्य पर परामर्श (first-response counselling) प्रदान करता है।
36 राज्यों में 53 टेली-MANAS केंद्र स्थापित किए गए हैं।
यह 24/7 सेवाएं प्रदान करता है और 2022 से मार्च 2025 तक 23,82,000 से अधिक कॉल्स प्राप्त हो चुके हैं।
राष्ट्रीय मानसिक स्वास्थ्य कार्यक्रम (NMHP) / जिला मानसिक स्वास्थ्य कार्यक्रम (DMHP)
700 से अधिक जिलों में लागू।
इसमें साइकेट्रिस्ट, साइकोलॉजिस्ट, सामाजिक कार्यकर्ता और नर्स शामिल हैं।
आयुष्मान आरोग्य मंदिर
प्राथमिक स्वास्थ्य स्तर पर मानसिक स्वास्थ्य सेवाओं को मजबूत करना।
AB PM-JAY के तहत मानसिक विकारों के लिए 22 प्रक्रियाओं में कैशलेस स्वास्थ्य सेवाएं उपलब्ध।
सरकारी मानसिक अस्पताल
भारत में 47 सरकारी मानसिक अस्पताल कार्यरत हैं, जिसमें 3 केंद्रीय मानसिक स्वास्थ्य संस्थान शामिल हैं।
व्यापक प्राथमिक स्वास्थ्य सेवा के तहत इन संस्थानों में मानसिक स्वास्थ्य सेवाएं भी उपलब्ध हैं।
विश्व मानसिक स्वास्थ्य दिवस 2025 का थीम
इस वर्ष का विषय है:
“Access to Services – Mental Health in Catastrophes and Emergencies”
इसका उद्देश्य आपातकालीन स्थितियों में मानसिक स्वास्थ्य और मनो-सामाजिक जरूरतों को प्राथमिकता देना है।
WHO ने कहा:
“इस विश्व मानसिक स्वास्थ्य दिवस पर, आइए हम एक ऐसी दुनिया बनाने के प्रयास तेज़ करें जहाँ मानसिक स्वास्थ्य की कद्र हो, इसकी सुरक्षा हो और यह सभी के लिए सुलभ हो, विशेषकर विपरीत परिस्थितियों में।”
मानसिक स्वास्थ्य क्या है?
मानसिक स्वास्थ्य का मतलब है हमारे मानसिक, भावनात्मक और सामाजिक कल्याण की स्थिति। यह निर्धारित करता है कि हम अपने जीवन की चुनौतियों को कैसे संभालते हैं, दूसरों के साथ कैसे जुड़ते हैं और अपने कामकाजी व व्यक्तिगत जीवन में कैसे प्रदर्शन करते हैं।
मानसिक स्वास्थ्य के मुख्य पहलू
भावनात्मक स्वास्थ्य (Emotional Health) – अपनी भावनाओं को समझना और नियंत्रित करना।
सामाजिक स्वास्थ्य (Social Health) – दूसरों के साथ अच्छे संबंध बनाना और समुदाय में सकारात्मक भूमिका निभाना।
संज्ञानात्मक स्वास्थ्य (Cognitive Health) – अपने सोचने, सीखने और निर्णय लेने की क्षमता को बनाए रखना।
मानसिक स्वास्थ्य के महत्व
संतुलित जीवन – मानसिक स्वास्थ्य अच्छा होने से व्यक्ति तनाव और चुनौतियों का सामना बेहतर ढंग से कर सकता है।
उत्पादकता और करियर – मानसिक रूप से स्वस्थ व्यक्ति अपने काम में अधिक ध्यान और दक्षता दिखाता है।
संबंधों में मजबूती – मानसिक संतुलन से पारिवारिक और सामाजिक रिश्ते मजबूत होते हैं।
सामाजिक योगदान – मानसिक रूप से स्वस्थ व्यक्ति समाज में सकारात्मक योगदान देता है।
मानसिक स्वास्थ्य पर ध्यान क्यों जरूरी है?
आज की तेज़ जीवनशैली, सोशल मीडिया, काम का दबाव और व्यक्तिगत चुनौतियाँ मानसिक स्वास्थ्य पर भारी प्रभाव डाल सकती हैं। अवसाद (Depression), चिंता (Anxiety), तनाव (Stress) जैसी समस्याएँ आम होती जा रही हैं। इसलिए समय रहते मानसिक स्वास्थ्य की देखभाल करना बहुत जरूरी है।
मानसिक स्वास्थ्य बेहतर बनाने के उपाय
समय पर आराम और नींद – पर्याप्त नींद से मस्तिष्क और शरीर दोनों स्वस्थ रहते हैं।
सकारात्मक सोच – नकारात्मक विचारों को कम करके जीवन में सकारात्मक दृष्टिकोण अपनाएँ।
व्यायाम और योग – नियमित शारीरिक गतिविधि से मानसिक तनाव कम होता है।
सामाजिक जुड़ाव – परिवार और मित्रों के साथ समय बिताएँ, अकेलेपन को कम करें।
सहायता लेना – अगर मानसिक समस्याएँ गंभीर हों, तो मानसिक स्वास्थ्य पेशेवर (Psychologist/Psychiatrist) से मदद लें।
विश्व मानसिक स्वास्थ्य दिवस का महत्व
विश्व मानसिक स्वास्थ्य दिवस हर साल 10 अक्टूबर को मनाया जाता है। इसका उद्देश्य है:
मानसिक स्वास्थ्य के बारे में जागरूकता बढ़ाना।
मानसिक स्वास्थ्य पर खुली बातचीत को बढ़ावा देना।
लोगों को मानसिक स्वास्थ्य सेवाओं और सहायता तक पहुंच सुनिश्चित करना।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी इस अवसर पर मानसिक स्वास्थ्य की अहमियत पर जोर दिया और सभी से मिलकर ऐसा वातावरण बनाने का आग्रह किया जहाँ लोग मानसिक स्वास्थ्य पर खुलकर चर्चा कर सकें।
