कांगड़ा (नूरपुर). ‘पद्मावती’ फिल्म को लेकर राजपूत समुदाय में पनम रहे रोष का असर नूरपुर में भी देखने को मिल रहा है. फिल्म की रिलीज के विरोध में वीरवार को राजपूत सभा नूरपुर के एसडीएम आबिद हुसैन सादिक के जरिए से प्रधानमंत्री को ज्ञापन प्रेषित किया. सभा के चेयरमैन मनोज पठानिया के नेतृत्व में क्षेत्र के काफी संख्या में राजपूत समुदाय के लोग संयुक्त कार्यालय में एकत्रित हुए और संजय लीला भंसाली के विरोध ने नारेबाजी की.
‘हमेशा राजपूत समुदाय को निशाना बनाया जाता है’
सभा के चेयरमैन मनोज पठानिया ने ज्ञापन सौंपने के बाद पत्रकारों को संबोधित करते हुए कहा कि फिल्मी जगत द्वारा हमेशा ही राजपूत समुदाय को निशाना बनाता आ रहा है. हमेशा से राजपूती इतिहास के साथ छेड़छाड़ कर मनोरंजन के नाम पर परोसा जाता आ रहा है. इस फिल्म को रिलीज करने से पहले उसे इतिहासकारों और रानी पद्मावती के वंशजों को दिखाया जाना चाहिए और उसके बाद ही इसे रिलीज किया जाए.
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उन्होंने आगे कहा कि अगर बावजूद इसके फिल्म रिलीज की जाती है तो आज तो राजपूत सभा के सिर्फ पदाधिकारी पहुंचे है. बाद में सम्पूर्ण राजपूत समुदाय सड़कों पर उतरने को बाधित होगा. उन्होंने ज्ञापन के जरिये प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से अपील की है कि मनोरंजन के नाम पर इतिहास के साथ छेड़छाड़ करने वालों के खिलाफ सख्त कानून बनाया जाये. जिससे किसी की भावनाएं आहत ना हो.
इस मौके पर सभा के चेयरमैन मनोज पठानिया, प्रधान गुरचरण पठानिया, जिला कांग्रेस कमेटी के प्रधान कर्ण पठानिया, ज़िला पार्षद उदय पठानिया, रेणु कटोच, डॉ. संजीव गुलेरिया, राजीव पठानिया, राजिंदर संबयाल, कुशल पठानिया, गोगा पठानिया, जोगिंदर पठानिया, ओम प्रकाश, भूरी सिंह, दिग्विजय चिब, दलजीत पठानिया, गौरव राणा, प्रवीण सुंघालिया, प्रीतम सिंह, अशोक भन्द्राल तथा सभा के कई सदस्य उपस्थित थे.