नई दिल्ली. राघोपुर से नवनिर्वाचित आरजेडी विधायक तेजस्वी यादव को बिहार विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष (LoP) चुन लिया गया है। यह निर्णय सोमवार को पटना में तेजस्वी यादव के आवास पर हुई आरजेडी विधायकों की बैठक में लिया गया। यह बैठक हाल ही में हुए विधानसभा चुनाव में महागठबंधन की करारी हार की समीक्षा के लिए बुलाई गई थी। बिहार चुनाव में एनडीए ने 243 में से 202 सीटें जीतकर रिकॉर्ड बहुमत हासिल किया, जबकि महागठबंधन सिर्फ 35 सीटों पर सिमट गया। आरजेडी को महज 25 सीटें मिलीं।
हार के लिए EVM और Election Commission को जिम्मेदार बताया गया
बैठक में तेजस्वी के करीबी संजय यादव भी मौजूद रहे, जिन्हें लालू प्रसाद यादव की बेटी रोहिणी आचार्य ने हार के लिए जिम्मेदार ठहराया है। लंबी चर्चा के बाद आरजेडी विधायकों ने हार का कारण “EVM हैकिंग” और चुनाव आयोग की “पक्षपातपूर्ण कार्यशैली” को बताया। हालांकि, बैठक में रोहिणी आचार्य के हालिया आरोपों या उनके परिवार से अलग होने पर कोई चर्चा नहीं हुई।
लालू परिवार में उथल-पुथल: रोहिणी आचार्य के भावुक बयान
आरजेडी सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव की बेटी रोहिणी आचार्य ने रविवार को सोशल मीडिया पर कई भावुक पोस्ट साझा किए।
उन्होंने आरोप लगाया कि उन्हें “गंदी किडनी देने” के लिए कोसा गया और आज वे “अनाथ” जैसी महसूस कर रही हैं।
अपने पोस्ट में उन्होंने विवाहित महिलाओं को नसीहत दी कि “अगर परिवार में बेटा हो तो पिता के लिए अपनी जान जोखिम में न डालें।”
एक दिन पहले ही रोहिणी ने आरजेडी से इस्तीफा दिया था और अपने भाई तेजस्वी यादव, संजय यादव और रमीज़ को चुनावी हार का जिम्मेदार ठहराया था। उन्होंने यह भी दावा किया कि जब उन्होंने पार्टी की हार का मुद्दा उठाया, तो उन पर चप्पल फेंकी गई और उन्हें घर से निकाल दिया गया।
बीजेपी का हमला: ‘जो बहन का सम्मान न कर सके, वह बिहार का क्या बदलेगा?’
सोमवार को एनडीए नेताओं ने तेजस्वी यादव पर तीखे हमले किए। बीजेपी नेताओं ने आरोप लगाया कि तेजस्वी अपने ही परिवार की महिलाओं के सम्मान की रक्षा नहीं कर सके, ऐसे में उनके द्वारा बिहार के भविष्य और सुशासन के वादों पर कैसे भरोसा किया जाए? एनडीए नेताओं का कहना है कि रोहिणी आचार्य के आरोपों ने “आरजेडी में परिवारिक कलह और दुर्व्यवहार की वास्तविकता” को उजागर कर दिया है।
