नई दिल्ली: दिल्ली में बाढ़ का खतरा एक बार फिर से मंडरा रहा है. राजधानी में यमुना का जल स्तर शुक्रवार को एक बार फिर 205.33 मीटर के खतरे के निशान को पार कर गया. एक दिन पहले ही यमुना का जलस्तर खतरे के निशान से नीचे गया था.
कल रात को यमुना का पानी फिर खतरे के निशान के ऊपर आ गया है. जिसकी वजह से बाढ़ प्रभावित लोग सिग्नेचर ब्रिज के पास राहत शिविर में शरण ले रहे हैं. केंद्रीय जल आयोग के आंकड़ों के मुताबिक शुक्रवार शाम 6 बजे के करीब यमुना का जल स्तर 205.34 मीटर पहुंच गया था जो रात होते-होते और बढ़ गया.
केंद्रीय जल आयोग द्वारा दिन में पहले जारी किये गये पूर्वानुमान के मुताबिक, पुराने रेल पुल के नीचे यमुना का जलस्तर शुक्रवार को रात 10 और 12 बजे के बीच 205.45 मीटर तक पहुंच जाने की आशंका है. जलस्तर बाद में और बढ़ सकता है. इस पूर्वानुमान के बाद दिल्ली सरकार ने अधिकारियों को अपने-अपने क्षेत्रों पर नजर रखने और लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाने का इंतजाम करने का निर्देश दिया है.
आज सुबह यमुना का जलस्तर 205.44 मीटर पहुंचा
केंद्रीय जल आयोग के आंकड़ों के अनुसार आज सुबह 5 बजे यमुना का जलस्तर 205.44 मीटर पहुंच गया. अब सुबह 8 बजे तक इसके घटकर 205.18 मीटर होने की उम्मीद है. जबकि शुक्रवार की सुबह यमुना का जलस्तर 205.34 मीटर पर था और गुरुवार को 205.30 मीटर जलस्तर रिकॉर्ड किया गया. जिसको लेकर दिल्ली सरकार की तरफ से पहले ही अधिकारियों को निर्देश जारी किए गए थे.
हिमाचल उत्तराखंड में बारिश से बढ़ा जलस्तर
हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड में हुई बारिश की वजह से पिछले दो-तीन दिनों में जल स्तर में मामूली उतार-चढ़ाव हुआ है. वहीं मौसम विभाग ने आज यानि 22 जुलाई को भी उत्तराखंड और हिमाचल प्रदेश में अलग-अलग जगहों पर भारी बारिश की चेतावनी जारी की है.
जिससे अब यमुना का जलस्तर और ज्यादा बढ़ने की संभावना है. अगर जलस्तर और बढ़ा तो लोगों को लंबे समय तक राहत शिविरों में रहना पड़ सकता है. बाढ़ग्रस्त निचले इलाकों में प्रभावित परिवारों के पुनर्वास की गति धीमी हो जाएगी. इसके अलावा बाढ़ का असर शहर में पानी की आपूर्ति पर भी पड़ सकता है.