वाराणसी: उत्तर प्रदेश में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वाराणसी के उमराहा में नवनिर्मित स्वर्वेद महामंदिर का उद्घाटन कर दिया है. इस दौरान राज्य के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भी उनके साथ मौजूद रहे. इस मंदिर की भव्यता देखते ही बनती है. इसमें एक साथ 20 हजार लोग योगाभ्यास कर सकते हैं.
बता दें कि स्वर्वेद महामंदिर दुनिया का अनोखा मंदिर है. इस मंदिर में किसी देवी-देवता की प्रतिमा नहीं है. मंदिर में पूजा की जगह ब्रह्म ज्ञान की प्राप्ति के लिए योग साधना की जाएगी. गुरु परंपरा को समर्पित इस महामंदिर को योग साधकों की साधना के लिए तैयार किया गया है, जिसमें 100 करोड़ की लागत आई है. मंदिर आज से आम साधकों व श्रद्धालुओं के लिए खुल जाएगा.
स्वर्वेद महामंदिर की विशेषताएं
- विश्व का सबसे बड़ा ध्यान केंद्र.
- मकराना संगमरमर पर 3137 स्वर्वेद छंद उत्कीर्ण.
- 20,000 से अधिक लोग एक साथ बैठकर ध्यान कर सकते हैं.
- 125 पंखुड़ी वाला कमल गुंबद.
- सद्गुरु सदाफल देव जी महाराज के जीवन पर यांत्रिकी प्रस्तुति.
- इसमें सामाजिक कुरीतियों और सामाजिक बुराइयों का उन्मूलन शामिल है.
- ग्रामीण भारत की भलाई के लिए अनेक सामाजिक-सांस्कृतिक परियोजनाओं का केंद्र.
- आध्यात्मिकता के शिखर से प्रेरित- स्वर्वेद
- भारतीय विरासत की झलक दर्शाती जटिल नक्काशीदार बलुआ पत्थर की संरचनाएँ.
- मंदिर की दीवारों के चारों ओर गुलाबी बलुआ पत्थर की सजावट.
- औषधीय जड़ी-बूटियों वाला उत्तम उद्यान.
उद्घाटन के बाद, प्रधानमंत्री ने उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के साथ इस केंद्र का दौरा किया. यहां 20,000 से अधिक लोग एक साथ बैठकर ध्यान कर सकते हैं. सात मंजिला इस भव्य महामंदिर की दीवारों पर स्वर्वेद के छंद उकेरे गए हैं. स्वर्वेद महामंदिर प्राचीन दर्शन, आध्यात्मिकता और आधुनिक वास्तुकला का एक मिलाजुला रूप है.